दिनांक 20 जुलाई 2024 को केशव माधव सरस्वती विद्या मंदिर वरिष्ठ माध्यमिक विद्यालय ककोड़ में गुरु पूर्णिमा के कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के अध्यक्ष विद्यालय के प्रधानाचार्य श्री मनोज कुमार मिश्र जी एवं मुख्य वक्ता आचार्य श्री बनवारी लाल शर्मा जी रहे।कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्ज्वलन एवं पुष्पार्चन के साथ किया गया। कार्यक्रम का संचालन विद्यालय की आचार्या बहन श्रीमती ममता शर्मा जी ने किया। आज के इस कार्यक्रम में विद्यालय के भैया बहनों ने गुरु की महिमा का गुणगान किया। मुख्य वक्ता श्री बनवारी लाल शर्मा जी ने बताया कि गुरु पूर्णिमा सनातन धर्म संस्कृति में आषाढ़ मास की पूर्णिमा को गुरु पूर्णिमा कहते हैं। हमारे धर्म ग्रंथों में अज्ञान को हटा कर प्रकाश (ज्ञान) की ओर ले जाने वाले को गुरु कहा जाता हैं। गुरू की कृपा से ईश्वर का साक्षात्कार होता है गुरू की कृपा के बिना कुछ भी सम्भव नहीं है। आदिगुरु परमेश्वर शिव दक्षिणामूर्ति रूप में समस्त ऋषि मुनि को शिष्य के रूप शिवज्ञान प्रदान किया था। उनके स्मरण रखते हुए गुरुपूर्णिमा मानाया जाता है। गुरु पूर्णिमा उन सभी आध्यात्मिक और अकादमिक गुरुजनों को समर्पित परम्परा है जिन्होंने कर्म योग आधारित व्यक्तित्व विकास और प्रबुद्ध करने, बहुत कम अथवा बिना किसी मौद्रिक खर्चे के अपनी बुद्धिमता को साझा करने के लिए तैयार हों। इसको भारत, नेपाल और भूटान में हिन्दू, जैन और बोद्ध धर्म के अनुयायी उत्सव के रूप में मनाते हैं। यह पर्व हिन्दू, बौद्ध और जैन अपने आध्यात्मिक शिक्षकों के सम्मान और उन्हें अपनी कृतज्ञता दिखाने के रूप में मनाया जाता है। यह पर्व हिन्दू पंचांग के हिन्दू माह आषाढ़ की पूर्णिमा (जून-जुलाई) मनाया जाता है।इस उत्सव को महात्मा गांधी ने अपने आध्यात्मिक गुरु श्रीमद राजचन्द्र को सम्मान देने के लिए पुनर्जीवित किया। ऐसा भी माना जाता है कि व्यास पूर्णिमा वेदव्यास के जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है। विद्यालय के छात्र एवं छात्राओं ने पटका पहनाकर अपने शिक्षकों का सम्मान किया। विद्यालय के अध्यक्ष श्री अशोक गुप्ता जी एवं प्रबंधक श्री जगदीश प्रसाद ढौड़ियाल जी ने सभी विद्यार्थियों को शिक्षकों के प्रति सम्मान की भावना रखते हुए आज्ञा पालन करने की सलाह दी। आज के इस कार्यक्रम में विद्यालय के समस्त आचार्य बंधु आचार्या बहने एवं भैया बहन उपस्थित रहे।